31 जनवरी को, प्रवर्तन निदेशालय ने झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को जमीन घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार कर लिया। Champai Soren को JMM विधायक दल का नेता चुना गया। बीते शुक्रवार को Champai Soren ने राजभवन में मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। आज चंपई सरकार विधानसभा में बहुमत पा चुकी है।
आज, झारखंड की Champai Soren सरकार का विधानसभा में बहुमत साबित हुआ। सरकार की ओर 47 वोट और विपक्ष की ओर 29 वोट पड़े। राज्यपाल के अभिभाषण से बहुमत परीक्षण के लिए झारखंड विधानसभा का दो दिन का विशेष सत्र बुलाया गया था।
Champai Soren सरकार का विश्वास मत
“मुझे कोई गम नहीं कि मुझे आज ED ने पकड़ा है,” हेमंत सोरेन ने कहा। झारखंड मुक्ति मोर्चा का जन्म झारखंड के सम्मान, सम्मान और स्वाभिमान को बचाने के लिए हुआ है, और हम किसी भी बुरी दृष्टि को सख्त प्रतिक्रिया देंगे। मैं आंसू नहीं बहाऊंगा; वे वक्त के लिए रह जाएंगे. आप लोगों के लिए आंसू का कोई मूल्य नहीं हैं।’
ईडी-सीबीआई-आईटी का मुद्दा हेमंत सोरेन ने उठाया
विधानसभा को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा, ‘यह झारखंड है, यह देश का एक ऐसा राज्य है जहां हर कोने में आदिवासी-दलित वर्गों से अनगिनत सिपाहियों ने अपनी कुर्बानी दी है। ED-CBI-IT, जो देश की विशिष्ट और बहुत संवेदनशील संस्थाएं हैं जबकि उनके सहयोगी करोड़ों रुपये बर्बाद कर विदेश में बैठे हैं, तो उनके पास एक भी पैसा नहीं है। देश के आदिवासी, पिछड़ों और बेगुनाहों पर अत्याचार करने की उनकी क्षमता है..। अगर आप हिम्मत करते हैं तो सदन में कागज पटक कर दिखा दें कि हेमंत सोरेन के नाम पर साढ़े आठ एकड़ जमीन है. अगर ऐसा होता है, तो मैं उस दिन राजनीति से इस्तीफा दे देता हूँ।’
विधानसभा में हेमंत सोरेन का भाषण
विधानसभा में पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भाषण दिया। हेमंत सोरेन ने अपने संबोधन में कहा कि 31 जनवरी ‘काली रात’ रही। यह देश के लोकतंत्र के लिए एक बुरी रात थी। देश में पहली बार एक मुख्यमंत्री गिरफ्तार किया गया था। राजभवन भी गिरफ्तार किया गया था। जिस प्रकार यह घटना हुई है मैं बहुत हैरान हूँ।’
झारखंड विधानसभा में वर्तमान गणित
झारखंड विधानसभा में 81 सदस्य हैं। फिलहाल एक सीट खाली है। फ्लोर टेस्ट में एक विधायक बीमार होने के कारण शामिल नहीं हुए हैं। विधानसभा में 79 विधायक हैं, इससे बहुमत 40 हो गया है। सत्ताधारी गठबंधन में 48 विधायक हैं, जिसमें झामुमो के 29, कांग्रेस के 17, राजद के एक और सीपीआई (एमएल) के एक हैं। भाजपा के 26 विधायक, आजसू के 3 और एनसीपी (एपी) के 2 निर्दलीय विधायक हैं। यही कारण है कि विपक्ष का आंकड़ा कुल 32 है।